अब 15 दिन में मिलेगा वोटर ID कार्ड, चुनाव आयोग ने शुरू की नई ट्रैकिंग प्रणाली

अब 15 दिन में मिलेगा वोटर ID कार्ड, चुनाव आयोग ने शुरू की नई ट्रैकिंग प्रणाली

नई दिल्ली। वोटर आईडी कार्ड से जुड़ी प्रक्रिया अब पहले से कहीं अधिक तेज, पारदर्शी और सुरक्षित हो गई है। चुनाव आयोग ने बुधवार को ऐलान किया कि अब नए मतदाता पंजीकरण या जानकारी में बदलाव के 15 दिनों के अंदर ही मतदाताओं को उनका वोटर आईडी कार्ड (EPIC) भेज दिया जाएगा। इसके लिए आयोग ने एक नई डिजिटल प्रणाली लागू की है।

जो प्रक्रिया को स्वचालित और ट्रैक योग्य बनाएगी। अधिकारियों के अनुसार, अब तक ईपीआईसी कार्ड की डिलीवरी में एक महीने से अधिक समय लग जाता था। लेकिन अब ECI द्वारा विकसित 'ECINet' नामक नए आईटी सिस्टम के तहत मतदाता पहचान पत्र का निर्माण और डिलीवरी हर स्तर पर ट्रैक किया जा सकेगा। इस प्रक्रिया के तहत मतदाताओं को SMS के जरिए अपडेट मिलते रहेंगे। यह सुविधा नए मतदाता, नाम या पते में बदलाव करने वाले मतदाताओं और किसी भी प्रकार के सुधार करने वालों के लिए लागू होगी।

डाक विभाग से जुड़ा रहेगा नया सिस्टम

नई प्रणाली को डाक विभाग (DoP) के API सिस्टम से जोड़ा गया है, जिससे EPIC कार्ड की डिलीवरी में अब कोई देरी या रुकावट नहीं होगी। चुनाव आयोग का कहना है कि इस कदम से मतदाताओं को तेज, सुरक्षित और पारदर्शी सेवा मिलेगी। डिप्टी डायरेक्टर पी. पवन ने बताया कि यह कदम चुनाव प्रक्रिया को तकनीकी रूप से सशक्त बनाने की दिशा में एक मील का पत्थर साबित होगा।

हर पोलिंग बूथ की होगी लाइव वेबकास्टिंग

इससे पहले 16 जून को चुनाव आयोग ने यह भी ऐलान किया कि आगामी चुनावों में सभी मतदान केंद्रों की लाइव वेबकास्टिंग की जाएगी। पहले यह सुविधा केवल 50% पोलिंग स्टेशनों पर लागू थी, लेकिन अब पूरे राज्य, जिला और विधानसभा क्षेत्र स्तर पर मॉनिटरिंग कंट्रोल रूम स्थापित किए जाएंगे, जिनकी निगरानी के लिए नोडल अधिकारी नियुक्त किए जाएंगे। जिन क्षेत्रों में इंटरनेट की सुविधा नहीं होगी, वहां वीडियोग्राफी या फोटोग्राफी की व्यवस्था की जाएगी। हालांकि वेबकास्टिंग का डेटा केवल आयोग के आंतरिक उपयोग के लिए होगा और इसे सार्वजनिक नहीं किया जाएगा।

वोटर ID को आधार से लिंक करने की भी तैयारी

इस बीच, चुनाव आयोग ने वोटर लिस्ट को और अधिक पारदर्शी बनाने के लिए वोटर ID को आधार से लिंक करने की प्रक्रिया भी तेज कर दी है। 18 मार्च को दिल्ली में चुनाव आयोग, गृह मंत्रालय, विधि मंत्रालय, आईटी मंत्रालय और UIDAI के वरिष्ठ अधिकारियों की उच्चस्तरीय बैठक में इस प्रस्ताव पर सहमति बनी। इसका उद्देश्य मतदाता सूची से डुप्लीकेट नामों को हटाना और निष्पक्ष मतदान सुनिश्चित करना है। मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार के अनुसार, इस प्रक्रिया को लागू करने के लिए जल्द ही UIDAI और ECI के टेक्निकल एक्सपर्ट्स के बीच तकनीकी परामर्श शुरू किया जाएगा।

Views: 12
Tags:

About The Author

Aman Raj Verma Picture

Journalist

BIHAR - JHARKHAND